मध्यप्रदेश मत्स्य महासंघ को विशेष कार्य और उपलब्धियों की श्रेणी में केन्द्र शासित क्षेत्र दमन में आयोजित राष्ट्रीय कार्यक्रम में केन्द्र शासन के सचिव मत्स्य श्री जितेंद्र नाथ सांई ने महासंघ के एम.डी. श्री पुरूषोत्तम धीमान और प्रदेश के मत्स्य-पालन मंत्री के ओ.एस.डी. श्री जीवन रजक को 5 लाख रूपये के राष्ट्रीय स्तर के उत्कृष्ट पुरस्कार और प्रशस्ति-पत्र से सम्मानित किया।
जल-संसाधन, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास मंत्री श्री तुलसीराम सिलावट ने विशेष उपलब्धि के लिए मत्स्य महासंघ की सभी मछुआ सोसायटी और मछुआरों को बधाई और शुभकामनाएँ भी दी हैं। राष्ट्रीय मत्स्य विकास बोर्ड हैदराबाद द्वारा एक हजार हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र के बाँध, नदी और तालाबों में मछली उत्पादन के बेहतर प्रबंधन तथा उत्पादन में लगातार वृद्धि के लिए मध्यप्रदेश मत्स्य महासंघ के कार्यों और नवाचारों की प्रशंसा की गई है।
प्रमुख सचिव मछुआ कल्याण और मत्स्य विकास श्री कल्पना श्रीवास्तव ने बताया कि विभाग द्वारा लगातार बेहतर काम किया जा रहा है। इसके लिए मछुआ सोसाइटी से लगातार संवाद करने के साथ ही मछुआ परिवारों की मदद के लिए अनेक कल्याणकारी योजना चलाई जा रही हैं। विगत 3 वर्ष में विपरीत परिस्थितियों में भी विभाग के द्वारा अच्छा काम किया गया है और मछुआ समितियों के सदस्यों को राज्य सरकार की योजना का लाभ दिया गया है। साथ ही मछुआ समाज के लोगों को जाल, नाव, बीमारी में सहायता, स्वास्थ, उच्च शिक्षा के क्षेत्र में आर्थिक मदद और बालिकाओं के विवाह के लिए मीनाक्षी योजना में आर्थिक सहायता भी प्रदान की जा रही है।
महासंघ के एम.डी. श्री धीमान ने बताया की मत्स्य महासंघ द्वारा व्यवसाय से अर्जित शुद्ध लाभ का लगभग 50 प्रतिशत भाग मछुओं के कल्याण में व्यय किया जाता है। इस कार्य के लिए मत्स्य महासंघ द्वारा मछुआ कल्याणकारी योजनाओं का संचालन किया जाता है। मत्स्य पालकों के लिए दुर्घटना बीमा योजना, बचत-सह-राहत, आजीविका सहयोग, जलदीप, नाव-जाल अनुदान, मुख्यमंत्री मीनाक्षी कन्या विवाह, निषादराज छात्रवृत्ति, गंभीर बीमारी, शिक्षा प्रोत्साहन, प्रोत्साहन पुरस्कार, अनुग्रह और मछुआ प्रशिक्षण योजना शामिल है। मछुओं को अपनी दैनिक आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए बिना ब्याज एवं कम ब्याज दर पर ऋण दिलाने के उददेश्य से केन्द्र सरकार की मंशानुरूप किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराये जा रहे हैं। मत्स्य महासंघ के मछुआरों को किसान क्रेडिट कार्ड से 40 हजार रूपये की ऋण सीमा तक राशि उपलब्ध कराने का प्रावधान किया गया है।
राज्य शासन द्वारा उपलब्ध कराये गये मत्स्य महासंघ के अधीन 28 जलाशय हैं, जिसका औसत 2 लाख 31 हजार हेक्टेयर औसत जलक्षेत्र मत्स्य पालन के लिए उपलब्ध है। विगत वर्षों में प्रदेश में कई नवीन जलाशयों का निर्माण हुआ है, जिससे नवीन जलक्षेत्र विकसित हुआ है। राज्य शासन की मछली पालन नीति- 2008 के प्रावधान अनुसार 1000 हेक्टेयर से बड़े जलक्षेत्र वाले नवीन जलाशयों का प्रबंधन मत्स्य महासंघ को उपलब्ध कराया जा रहा है, जिससे इसके कार्यक्षेत्र में उत्तरोत्तर वृद्धि हो रही है।
वर्तमान में 216 पंजीकृत समितियों के 14 हजार 688 सदस्य महासंघ के जलाशयों में कार्यरत है। जलाशयों से होने वाले मत्स्योत्पादन में लगातार वृद्धि हो रही है।