अयोध्या धाम में श्रीरामजन्मभूमि पर नवनिर्मित भव्य मंदिर धार्मिक पर्यटन के क्षेत्र में विकास की एक नयी इबारत लिखने को तैयार है वहीं देश दुनिया के करोड़ो रामभक्तों के आकर्षण का केंद्र बनी रामनगरी उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था में मील का पत्थर साबित होगी श्रीरामलला की भव्य मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा होने के अगले ही दिन अयोध्या धाम में श्रद्धालुओं की भीड़ इस कदर उमड़ी कि खुद मुख्यमंत्री को लखनऊ से अयोध्या आकर मंदिर का स्थलीय निरीक्षण करना पड़ा और जिला प्रशासन को श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुविधा के लिये जरुरी दिशा निर्देश् देने पड़े। श्रद्धालुओं से अपील की गई कि वे संयम से काम लें, प्रशासन हर रामभक्त को रामलला के दर्शन सुलभ करायेगा। इसके बावजूद हजारों की संख्या में इस ऐतिहासिक उत्सव में भाग लेने पहुंचे श्रद्धालु जय श्रीराम और सीताराम का नारा लगाते हुए मंदिर पहुंच रहे हैं। श्रद्धा की द्दष्टि से यह ऐतिहासिक अवसर रहा, साथ ही उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था के लिए भी यह बड़ा अवसर बनने जा रहा है।
कई देशी और विदेशी रिपोट्र्स में दावा किया गया है कि अयोध्या आने वाले समय में न सिफर् श्रद्धालुओं की संख्या में रिकॉडर्तोड़ वृद्धि दर्ज करने जा रहा है, बल्कि प्रदेश और देश की अर्थव्यवस्था को भी नई ऊंचाई प्रदान करने वाला है। UP और देश की बदल सकती है तस्वीर उत्तर प्रदेश सरकार ने जिस तरह व्यापक विकास के जरिए अयोध्या धाम की तस्वीर बदली है, उसी तरह आने वाले समय में अयोध्या धाम उत्तर प्रदेश और देश की तकदीर बदल सकता है। पूरी संभावना है कि उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने के सीएम योगी के संकल्प को पूरा करने में अयोध्या धाम एक मील का पत्थर साबित हो सकता है। मंदिर निर्माण से जुड़ी रही कंपनी लार्सन एंड टूब्रो ने दावा किया है कि नवनिर्मित राम मंदिर अगले एक हजार साल तक बना रहेगा।
इसकी इंजीनियरिंग ऐसा किया गया है कि यह एक हजार साल से भी ज्यादा समय तक डैमेज नहीं हो सकता। जाहिर है इसका इकॉनमिक इम्पैक्ट भी बड़ा होने वाला है। हाल ही में एसबीआई रिसर्च ने एक रिपोर्ट में दावा किया है कि राम मंदिर और अन्य टूरिज्म सेंट्रिक इनीशिएटिव्स के कारण उत्तर प्रदेश को 2024-25 में 25 हजार करोड़ रुपए का टैक्स कलेक्शन होने की उम्मीद है। इसमें अयोध्या सबसे अहम फैक्टर होगा।