भूमि संरक्षण के लिए तैयार “कवीर किसान” छत्तीसगढ़ एग्रीकॉन समिति, रायपुर और कॉमनलैंड की टीम ने कबीरधाम जिले में उठाया बीड़ा

छत्तीसगढ़ एग्रीकॉन समिति, रायपुर और कॉमनलैंड, (नीदरलैंड्स) ने Central Highlands Restoration Project (CHiRP) के हिस्से के रूप में कबीरधाम जिले के कवर्धा और पंडरिया विकासखंड में भूमि को पुनः पहले जैसा करने के लक्ष्य से एक नई परियोजना शुरू की है। इस परियोजना का उद्देश्य, घटती भूजल स्तर, कम होती मिट्टी की गुणवत्ता और कम होती फसल की गुणवत्ता जैसी अनेक समस्याओं से निपटना है। इस परियोजना को शुरू करने के लिए, कवर्धा ब्लॉक के खैरिपार, डौजरी, नौदिह, जरती, दशरंगपुर खुर्द और पंडारिया ब्लॉक के माहली, पाउनी, बंधा, बनिया कुवा और डोमसरा में 14 मार्च से 19 मार्च तक गांव स्तर की बैठकें आयोजित की गईं। इस पहल का उद्घाटन गांवों के सरपंच, पंच वार्ड सदस्यों और अन्य वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं की मौजूदगी में किया गया।


इस कार्य्रक्रम की शुरुआत करते हुए कहा गया कि- भूमि के विकास की ओर इस पहल के लिए हर ग्राम में 10 किसानो का समूह बनाया जाएगा जो “कवीर किसान” कहलाएंगे, जिनको अलग-अलग फसलों, मिट्टी पानी, खाद इत्यादि विषय में विशेषज्ञो से प्रशिक्षण प्राप्त होगा, ये “कवीर किसान” पहले खुद अपने खेतों में प्रयोग करेगें, सीखी हुई तकनीकें अपनाएंगे फिर अन्य ग्रामीण लोगों को प्रशिक्षित करेगें |इस ग्राम स्तरीय बैठक में ही “कवीर किसान” का चयन कर पंजीयन भी किया गया
इसके साथ-साथ ग्रामीण स्तर पर कवीर स्वयंसेवी का चयन किया जायेगा जो अपनी इच्छा से गाँव के विकास के लिए पोषण, मानसिक स्वास्थ्य, आजीविका, पर्यावरण और बाल विकास एवं स्वास्थ्य जैसे मुद्दों में, अपने कार्यों से थोडा समय निकाल कर कार्य करेगें।


गांव स्तर की मीटिंग में पर्यावरण और पारिस्थितिकी से संबंधित बच्चों के लिए एक पेंटिंग और ड्राइंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था, जिसमें उनकी प्रतिभाओं की बहुत अच्छी तरह से अभिव्यक्ति की गई। इसके अलावा, सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किए गए, और मेहमानों द्वारा प्रतिभागियों को पुरस्कार दिए गए।अपने और आने वाली पीढ़ी के उज्जवल भविष्य के लिए सभी मौजूद ग्राम वासियों ने इस पहल को सहयोग करने का वादा किया
यह नवाचारी कार्यक्रम कबीरधाम जिले के लोगों के जीवन और लैंडस्केप पर सकारात्मक प्रभाव डालने की संभावना रखता है। छत्तीसगढ़ एग्रिकॉन समिति और कॉमनलैंड के बीच सहयोग एक टिकाऊ भविष्य बनाने के लिए संगठनों के साथ कैसे काम किया जा सकता है, इसका एक शानदार उदाहरण है।
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