महासमुंद॥— दूरदर्शी और परिणामकारी सोच के साथ बसना विकासखंड के कायतपाली गांव में छात्रों को अवसर देने एक पहल पर कार्य प्रारंभ हो गया है। शुक्रवार को यहां आयोजित कार्यक्रम में छात्र छात्त्राओं को पठनपाठन सामग्री प्रदान की गई।
सुदूर ग्रामीण क्षेत्र के विद्यार्थियों को नवोदय, एकलव्य, सैनिक और प्रयास विद्यालय की शिक्षा प्राप्त करने हेतु पात्रता के विचार से कायतपाली में एक पहल स्थानीय निवासीयों ,युवकों ने की है इससे पूर्व ग्रामीणों के साथ बातचीत में यह बिंदु खास रहा कि हमारे बच्चे अच्छे विद्यालय के लिए आखिर कैसे चयमित हों और इसके लिये क्या कुछ करना जरूरी है। इसी के साथ योजना तय की गई और कार्य को आगे बढ़ाने का निर्णय हुआ। उक्तानुसार स्थानीय विद्यालय के शिक्षकों और यहां के उच्च शिक्षित छात्रों के सहयोग से छात्रों को एक से दो घण्टे अतिरिक्त मार्गदर्शन दिए जाने पर सहमति हुई। सभी पालकों ने इसका स्वागत किया।
पिछले महीने इस योजना का मसौदा तैयार किया गया और 6 अकटुबर से इसे जमीन पर उतार दिया गया। गरिमामय कार्यक्रम में छात्रों, पालकों, युवा मितान के युवकों ,शाला समिति के सभापति ,अध्यक्षों ग्राम के शासकीय नौकरी वाले और प्रायमरी ,मिडिल स्कूल के शिक्षकों की उपस्थिति में मार्गदर्शन केंद्र प्रारंभ हो गया। स्कूल के छात्राओं की सांस्कृतिक प्रस्तुति हुई। इसके बाद उत्कृष्ट विद्यालयों में विद्यार्थियों के चयन के रास्ते तैयार करने के बारे में चर्चा की गई। ग्रामीण क्षेत्र के स्तर पर यह केंद्र अपने आप में विशेष होगा जहां बच्चों को आगे के सफर को लेकर मार्गदर्शन दिया जाएगा। स्थानीय शिक्षक और शिक्षक युवाओं का इस कार्य में अपनी विशेष भूमिका निभाएंगे। शुक्रवार को शुभारंभ दिवस पर इस केंद्र के विद्यार्थियों के लिए पठन-पाठन सामग्री उपलब्ध कराई गई। आयोजित कार्यक्रम बच्चों के कैरियर के लिए मील का पत्थर साबित होगा, ऐसी कामना लोगों ने की।
स्मार्ट तरीके से होगी पढ़ाई
भले ही पिछले दशकों में शिक्षा का विस्तार बहुत अच्छी यहां नहीं हो पाया लेकिन अब स्थितियां बदलने का संकल्प लिया गया है। इसके अंतर्गत स्थानीय बच्चों को विशेष मार्गदर्शन देने के लिए जो केंद्र शुरू किया गया है उसमें स्मार्ट एलइडी टीवी, वाइट बोर्ड और अन्य संसाधन शामिल है। इसके साथ पढ़ने का सबसे अलग अनुभव होगा और तरीका भी बिल्कुल अनूठा, जो छात्रों में रुचि जागृत करेगा।
जिज्ञासा सबसे महत्त्वपूर्ण
स्थानीय युवकों के माँग ,आवश्यकता को देखते हुए सुविधा उपलब्ध व संसाधन उपलब्ध कराने मार्गदर्शन माँगने पर स्थानीय निवासी और मेरे सहयोग से शुभारंभ किया गया इस अवसर पर मैंने अपनी बात रखते हुए जोर दिया कि छात्रों को जिज्ञासु प्रवृत्ति का होना चाहिए। पढ़ने और समझने की जितनी ज्यादा ललक होगी,तभी वे ऊंचाई को स्पर्श करेंगे ,समूह चर्चा, वाद विवाद, खोजपरक विषयों पर गंभीरता दिखाने से उनका बौद्धिक विकास होगा बताया गया कि पढ़ाई के साथ साथ शारीरिक अभ्यास व खेलकूद पर ध्यान देने के साथ उन्हें स्कूल जीवन में मोबाइल खेल से दूर रहना होगा साथ साथ ,हार से निराश नहीं होने ,क्लास में दिये गए विषयों की होमवर्क करने ,अनुशासन बनाये रखने ,छात्रों को अच्छी पुस्तकों से दोस्ती करनी होगी, क्योंकि वे ही उनका पथ प्रदर्शक साबित होंगी।