जम्मू-कश्मीर विधानसभा के पहले सत्र की शुरुआत बेहद हंगामेदार हुई। सोमवार को समन में उस समय हंगामा मच गया, जब पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी के विधायक वहीद पर्रा ने केंद्र की ओर से अनुच्छेद 370 को निरस्त किए जाने के विरोध में प्रस्ताव पेश किया।
मालूम हो कि अगस्त 2019 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने अनुच्छेद 370 को निरस्त कर दिया था। इससे जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त हो गया था और तत्कालीन राज्य को 2 केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया गया था।
जम्मू-कश्मीर विधानसभा में पहले सत्र के पहले दिन 7 बार के विधायक और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता अब्दुल रहीम राथर को सर्वसम्मति से अध्यक्ष चुना गया। जब पर्रा ने कहा कि उन्होंने 2019 में संसद की ओर से विशेष दर्जा और अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के खिलाफ प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने एक प्रस्ताव भी पढ़ा। पीडीपी विधायक के इस कदम से सदन में सभी भाजपा विधायकों की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई। भाजपा विधायकों ने इसका कड़ा विरोध करते हुए कहा कि यह नियमों का उल्लंघन है।